धनतेरस (Dhanteras)
ब्लॉग के सभी पाठकों को धनतेरस पर्व की हार्दिक बधाई।
कार्तिक के महीने में मौसम भी खुशनुमा होता है। ना बहुत अधिक गर्मी होती है और ना ही बहुत अधिक सर्दी। साथ ही इस माह में त्योहारों की भी धूम रहती है। दीपावली के पांच दिवसीय त्योहार की शुरुआत धनतेरस (Dhanteras) के दिन से होती है, जो कि भाई दूज तक चलता है। प्रतिवर्ष कार्तिक कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धनतेरस का पर्व मनाया जाता है। इसी तिथि पर भगवान धन्वंतरि सोने के कलश के साथ प्रकट हुए थे। साथ ही त्रयोदशी के दिन ही आयुर्वेद के देवता धन्वंतरि जी की जयंती भी मनाई जाती है। इस दिन भगवान धन्वंतरि के साथ माता लक्ष्मी और कुबेर की भी पूजा की जाती है।
इस साल 10 नवंबर को (आज) धनतेरस है। धनतेरस पर नई चीजों की खरीदारी का विशेष महत्व होता है। ऐसी मान्यता है जो कोई भी धनतेरस के दिन खरीदारी करता है, उसके घर पर सुख और समृद्धि आती है। मान्यता है कि धनतेरस के दिन खरीदी गई वस्तुएं कई वर्षों तक शुभ फल प्रदान करती हैं। वैसे कुछ लोगों के अनुसार धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरि जी की पूजा अनुष्ठान का प्रावधान है, खरीददारी का प्रचलन इधर के कुछ सालों में बाजारवाद की देन है।
इस दिन भगवान धन्वंतरि की उपासना करने से भी शुभ फलों की प्राप्ति होती है। मालूम हो कि धनेतरस के दिन भगवान धन्वंतरि के जन्मोत्सव के रूप में भी मनाया जाता है।
कौन थे भगवान धन्वंतरि?
भगवान धन्वंतरि आयुर्वेद के जनक माने जाते हैं। धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक, धन्वंतरि जी भगवान विष्णु के 24 अवतारों में से 12वें अवतार माने गए हैं। मान्यताओं के अनुसार, भगवान धन्वंतरि समुद्र मंथन के दौरान हाथ में कलश लेकर प्रकट हुए थे। भगवान धन्वंतरि की चार भुजाएं हैं। ऊपर के एक हाथ में शंख, दूसरे में कलश और नीचे के तीसरे हाथ में जड़ी बूटी और चौथे में आयुर्वेद ग्रंथ है। धनतेरस को भगवान धन्वंतरि के जन्मोत्सव के रूप में भी मनाया जाता है। धनतेरस पर भगवान धन्वंतरि की पूजा करने से सेहत और निरोगी शरीर का आशीर्वाद मिलता है।
आप सब स्वस्थ रहें, आनंद से रहें।
Happy Dhanteras
ReplyDeleteकुबेर दिगपाल की जय 🙏🏻
ReplyDeleteशुभ धनतेरस
ReplyDeleteHappy Dhanteras
ReplyDeleteshubh dhanteras
ReplyDeleteShubh dhanteras
ReplyDeleteHappy dhanteras
ReplyDeleteHappy dhanteras
ReplyDeleteLog Kharidari ko hi manyta jyada dete h
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