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दारुहरिद्रा | Daruharidra | दारूहल्दी |

दारुहरिद्रा (Daruharidra)

दारू क्या होती है यह तो सभी जानते होंगे, जो शरीर के लिए नुकसानदायक होती है पर क्या आप दारूहल्दी के बारे में जानते हैं जो हमारे लिए बेहद फायदेमंद होती है? दारू हल्दी का दूर-दूर तक दारू से कोई लेना देना नहीं है। यह एक बहुत ही उत्तम जड़ी बूटी है, जो बहुत वर्षों से हमारे आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति में उपयोग में लाई जाती रही है। कई पुराने ग्रंथों में चिकित्सा के लिए दारुहरिद्रा के प्रयोग की व्याख्या मिलती है। दारूहल्दी को किनगोड़ भी कहा जाता है।

दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुण

दारूहल्दी अर्थात दारूहरिद्रा क्या है?

दारूहल्दी समुद्र तल से 1200 से 1800 मीटर की ऊंचाई पर उगने वाली एक कंटीली झाड़ी है। दारुहल्दी के तने की छाल खुरदरी खांचयुक्त होती है। इसके पत्ते लंबे चौड़े और चार्मिल होते हैं तथा गहरे हरे रंग के और चमकीले होते हैं। इसके फूल छोटे होते हैं और फल 7 से 10 मिली मीटर लंबे, अंडाकार, लाल या श्याम नीले रंग के होते हैं। इसमें फूल आने का समय मार्च से अप्रैल तथा फल आने का समय मई से जून तक का होता है।

जानते हैं दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुणों के बारे में

दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुण

आयुर्वेद में दारूहल्दी के का इस्तेमाल का प्रयोग कान की बीमारी, आंखों के रोग, घाव को सुखाने में, मुंह की बीमारी, चर्म रोग तथा डायबिटीज आदि रोगों में किया जाता है।

बुखार होने पर

दारू हल्दी की जड़ की छाल से काढ़ा बनाएं। 10 से 20 मिलीलीटर की मात्रा में इस काढ़े का सेवन करने से लाभ होता है।

घाव सुखाने के लिए

दारूहल्दी की जड़ की छाल को पीसकर घाव पर लगाने से घाव जल्दी सूख जाता है।

सूजन होने पर

दारू हल्दी की जड़ के पेस्ट को सूजन वाली जगह पर लगाने से लाभ होता है।

दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुण

मधुमेह रोग में

10 से 20 ग्राम दारूहल्दी का काढ़ा बनाकर सेवन करने से मधुमेह के रोग में लाभ होता है।

त्वचा संबंधी समस्या

त्वचा पर घाव, अल्सर, एक्ने आदि की समस्या होने पर नारियल के तेल में दारू हल्दी का चूर्ण मिलाकर प्रभावित स्थान पर लगाने से लाभ होता है।

जोड़ों के दर्द में

अगर जोड़ों में दर्द की समस्या है तो दारू हल्दी को दूध के साथ सेवन उबालकर पीने से लाभ होता है।

पीलिया होने पर

दारुहल्दी के 5-10 मिली रस में निम्बू के पत्ते के रस को 1 चम्मच मधु मिलाकर पीने से भी पीलिया में फायदा होता है।

एनीमिया में

सुबह दारुहल्दी के रस (5-10 मिली) या काढ़ा (10-30 मिली) में मधु मिलाकर सेवन करें। इससे एनीमिया में फायदा होता है। यह पीलिया में भी लाभ पहुंचाता है।
दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुण

विभिन्न भाषाओं में दारूहल्दी के नाम

दारुहरिद्रा का वानस्पतिक नाम बरबेरिस एरिस्टैटा (Berberis aristata DC., Syn-Berberis macrophylla K. Koch), बरबेरीडेसी (Berberidaceae) है। 

Hindi – दारुहलदी, दारुहरदी; उत्तराखण्ड-किंगोरा (Kingora)

English – इण्डियन बर्बेरी (Indian barberry), ट्री टरमेरिक (Tree turmeric), नेपाल बर्बेरी (Nepal barberry)  

Sanskrit – दार्वी, दारुहरिद्रा, पर्जन्या, पर्जनी, पीता, पीतद्रु, पीतद, पीतदारु, पीतक, हरिद्रव

Kannada – दोद्दामरदरिसिन (Doddamaradrisin), बगीसूट्रा (Bagisutra)

Gujarati – दारुहलदर (Daruhaldar)

Telugu – मानिपुसपु (Manipusupu), दारूहरिद्रा (Daruharidra), कस्थूरी पुष्पा (Kasthoori pushpa)

Tamil –  (berberis aristata in tamil) – मर मंजिल (Mar manjal), उसिक्कला (Usikkala)

Bengali – दारुहरिद्रा (Daruharidra)

Nepali – चित्रा (Chitra), केस्से (Kissie)

Punjabi – सुमलु (Sumalu), सीमलु (Simalu)

Marathi – दारुहल्दी (Daruhaldi), जरकि हलद (Jarki halad)

Malayalam (berberis aristata malayalam) – मरदारिसिना (Maradarisina), मरमांजल (Maramanjal)

Himichal Pradesh – काम्मुल (Kammul), काशमल (Kashmal)

Arabic – दार हल्द (Dar hald), आरगीस (Aargis);

Persian – दार चोब (Dar chob), चित्रा (Chitra), जिरिश्क (Zirishk)

दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुण

दारू हल्दी के नुकसान

  • दारू हल्दी रक्त में शर्करा के स्तर को कम करता है, इसलिए मधुमेह वाले लोग इसका उपयोग डॉक्टर की सलाह से करें। 
  • सीमित मात्रा में प्रयोग करने से इसका कोई भी नुकसान नहीं होता है।
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Daruharidra

Everyone must know what alcohol is, which is harmful for the body, but do you know about turmeric which is very beneficial for us? Daru Haldi has nothing to do with alcohol far and wide. It is a wonderful herb, which has been used in our Ayurvedic system of medicine for many years. Many old texts explain the use of Daruharidra for medicine. Daruhaldi is also known as Kingod.
दारूहल्दी के फायदे, नुकसान, उपयोग और औषधीय गुण

What is Daruhaldi i.e. Daruharidra?

Daruhaldi is a thorny shrub growing at an altitude of 1200 to 1800 meters above sea level. The bark of barberry stem is rough and grooved. Its leaves are long, wide and charmil and are dark green in color and shiny. Its flowers are small and the fruits are 7 to 10 mm long, oval, red or dark blue in colour. The flowering time is from March to April and the fruiting time is from May to June.

Know about the advantages, disadvantages, uses and medicinal properties of Daru Haldi

In Ayurveda, the use of turmeric is used in ear disease, eye disease, drying of wounds, mouth disease, skin disease and diabetes etc.

having a fever

Make a decoction from the bark of turmeric root. Consuming this decoction in the quantity of 10 to 20 ml is beneficial.

to dry wounds

Grinding bark of turmeric root and applying it on the wound dries it quickly.

when swollen

Applying the paste of turmeric root on the swollen area is beneficial.

in diabetes

Consuming a decoction of 10 to 20 grams of turmeric is beneficial in diabetes.

skin problem

If there is a problem of wound, ulcer, acne etc. on the skin, mixing liquor and turmeric powder in coconut oil and applying it on the affected area is beneficial.

in joint pain

If there is a problem of pain in the joints, then boiling turmeric with milk and drinking it is beneficial.

having jaundice

Drinking 5-10 ml juice of barberry mixed with 1 spoon of lemon leaf juice is also beneficial in jaundice.

in anemia

Take barberry juice (5-10 ml) or decoction (10-30 ml) mixed with honey in the morning. This is beneficial in anemia. It is also beneficial in jaundice.

12 comments:

  1. ज्ञानवर्धक जानकारी।

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  2. लाजबाब हर बार की तरह फायदेमंद

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  3. It's quite surprising and wonderful ,full of medicinal values, we hardly know !
    #I have to share my personal experiences; However everyday in the morning at 5 am ,I do use a spoon of Herbal Neem Powder with honey and 1/2 spoon of, wet ground
    Haldi Paste , past one year and is said to be having a amazing effects as per Ayurveda & Sadguru ,to keep away all ailments and infections ,deceses of the body at any age .#Infact ,I felt and started trusting ,it is helping me to keep away from all medicines of Blood sugar / BP / Liver / Kidney / heart at my age at its best .. This is my personal observations about Haldi ! You ,my friends may also try because it's 100% safe ,least costly ,easy to use with max.advantages for future age
    Thanks and regards to you all .
    #awasthi.ak..🤝🌹🇮🇳

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  4. पवन कुमारFebruary 13, 2023 at 8:15 PM

    बुखार ,घाव,सूजन,मधुमेह,पीलिया,एनीमिया,जोड़ो का दर्द तथा चर्म रोग सहित अनेक बीमारियों में
    लाभदायक दारू हल्दी के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान करने के लिये आपका हृदय से आभार🙏🙏🙏🙏🙏

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  5. Nice information

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  6. बेहद रोचक और दुर्लभ जानकारी 👍🏻

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  7. दारू 🤣🤣 नाम और फायदे बहुत कुछ है इसके 😊

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