पत्थर का दिल पिघला नहीं
इस दरियादिली ने बहुत बर्बाद किया है मुझे...❣️"
दिल का उजड़ा चमन हो आबाद संभव है नहीं,
और विवादों से हो मन आजाद संभव है नहीं..
पहल करना है कठिन अब बढ़ गई हैं दूरियां-
दिल में कटुता आपसी संवाद संभव है नहीं..
पुरातन संस्कृतियां और प्रथा कहनी पड़ी मुझको,
बहुत मजबूर हो कर हर व्यथा कहनी पड़ी मुझको..
हदें जब पार होती हैं किनारे टूट जाते हैं-
शुरू से अन्त तक की सब कथा कहनी पड़ी मुझको..
कैद में मन के परिन्दे फटफटा कर रह गये,
मन के दरवाजे को अविरल खटखटा कर रह गये..
लाख कोशिश की मगर पत्थर का दिल पिघला नहीं-
मर गई संवेदनाए छटपटा कर रह गये..
Nice
ReplyDeleteआपको गणेश चतुर्थी की बहुत-बहुत हार्दिक शुभकामनाएं ढेर सारी बधाइयां
ReplyDelete🙏🙏💐💐शुभरात्रि 🕉️
ReplyDelete🚩🚩जय श्री गणेश 🚩🚩
🚩🚩जय श्री राधा माघव 🚩🚩
🙏श्री राधा माघव जी का आशीर्वाद आप और आपके परिवार पर हमेशा बना रहे 🙏
Happy Sunday
ReplyDelete🙏🙏
ReplyDeleteJo pighal jaye wo mom..... Patthar thodi...
ReplyDeleteJo pighal jaye wo mom..... Patthar thodi...
ReplyDeleteNice
ReplyDeleteअति सुंदर
ReplyDeleteबहुत सुंदर